आरबीआई/2016-17/133
डीसीएम (आयो) सं 1280/10.27.00/2016-17
15 नवम्बर 2016
अध्यक्ष / प्रबंध निदेशक / मुख्य कार्यपालक अधिकारी
सार्वजनिक क्षेत्र के बैंक / निजी क्षेत्र के बैंक / विदेशी बैंक /
क्षेत्रीय ग्रामीण बैंक / शहरी सहकारी बैंक / राज्य सहकारी बैंक
महोदय,
विनिर्दिष्ट बैंक नोटों के लिए बैंक शाखा में आने वाले ग्राहकों की अंगुली पर अमिट स्याही लगाने हेतु मानक परिचालन प्रक्रिया (SOP) उक्त विषय में कृपया हमारे दिनांक 08 नवंबर 2016 के परिपत्र डीसीएम (आयो) सं 1226/10.27.00/2016-17 का संदर्भ लें । विभिन्न स्थानों से प्राप्त फीडबैक के आधार पर, यह महसूस किया गया है कि इस प्रकार के विनिर्दिष्ट बैंक नोटों (SBNs) के विनिमय के लिए एक मानक परिचालन प्रक्रिया (SOP) बनाए जाने की आवश्यकता है । तदनुसार, बैंकों को निम्नानुसार उपाय करने हेतु सूचित किया जाता है :
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विनिर्दिष्ट बैंक नोट का विनिमय करते समय बैंक शाखा तथा डाकघर ग्राहक की दाँए हाथ की तर्जनी अंगुली पर अमिट स्याही से निशान लगाए ताकि यह पहचान की जा सके कि उसने पुराने मुद्रा नोट केवल एक बार की बदलवाए हैं ।
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बैंकों तथा डाकघरों को अमिट स्याही की आपूर्ति भारतीय बैंक संघ (IBA) द्वारा बैंकों के साथ समन्वयन तथा भारतीय रिजर्व बैंक के परामर्श से की जाएगी ।
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इस प्रक्रिया की शुरूआत मेट्रो शहरों से की जाएगी तथा बाद में इसका विस्तार अन्य क्षेत्रों में किया जाएगा ।
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प्रत्येक बैंक शाखा को 5 मिली की काली अमिट स्याही की बोतल उपलब्ध करवाई जाएगी । बोतल के ढक्कन के साथ स्याही लगाने के लिए छोटा ब्रुश भी शामिल है ।
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अमिट स्याही खजांची या बैंक द्वारा नामित अन्य किसी अधिकारी द्वारा जब नोट बदले जा रहे हों उस समय ग्राहक को नोट देने से पूर्व लगाई जा सकती है, जिससे कुछ सेकण्ड गुजर जाएँ तथा स्याही सूख जाए तथा स्याही को मिटाने से रोका जा सके ।
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पुराने नोटों के विनिमय को मना करने के लिए बहाने के रूप में बाँए हाथ की तर्जनी अंगुली अथवा किसी अन्य अंगुली पर अमिट स्याही का उपयोग नही किया जाए ।
भवदीय
(पी.विजय कुमार)
मुख्य महाप्रबंधक
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