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निविदा



बोली - पूर्व - बैठक – कार्यवृत्त – नोट बक्से और सिक्का बैग के परिवहन के लिए श्रम और वाहनों की आपूर्ति के लिए, बेलापुर

कोर्रिजेंडम

कोर्रिजेंडम

स्पष्टीकरण 

भारतीय रिज़र्व बैंक, सीबीडी बेलापुर, नवी मुंबई द्वारा 10 जनवरी, 2019 को बैंक की वेबसाइट और MSTC ई-पोर्टल पर तीन (3) अलग-अलग बोलियों को ई-टेंडरिंग प्रक्रिया के जरिए पात्र बोलीदाताओं से 1 अप्रैल 2019 से 31 मार्च 2020 तक की अवधि हेतु निम्नलिखित सेवाओं के लिए करार के लिए निविदाएँ जारी किये गए थे:

(i) नोट बक्से के परिवहन के लिए पूरी तरह से कवर कंटेनर ट्रकों / वाहनों की पर्याप्त संख्या में आपूर्ति;

(ii) सिक्का बैग और नोट बॉक्स की हैंडलिंग के लिए पर्याप्त संख्या में वयस्क और शारीरिक रूप से सक्षम श्रमिकों की आपूर्ति; तथा

(iii) वाहक के जोखिम पर सिक्कों के परिवहन के लिए पर्याप्त संख्या में पूर्ण रूप से कवर किए गए बंद कैश वैन / बंद वाहनों की आपूर्ति

2. निविदा दस्तावेजों के खंड- I में उल्लिखित निविदाओं की अनुसूची के अनुसार 17 जनवरी 2019 को भारतीय रिज़र्व बैंक, नई सम्मेलन कक्ष, द्वितीय तल, सेक्टर -10, एचएच निर्मलादेवी मार्ग, सीबीडी बेलापुर, नवी मुंबई -400614 में बोली- के पहले बैठक आयोजित की गई थी। उक्त बैठक में आठ (8) फर्मों के प्रतिनिधियों ने भाग लिया।

3. भाग लेने वाली फर्मों के प्रतिनिधियों द्वारा उठाए गए निविदा-वार प्रश्न, निविदा दस्तावेजों में प्रासंगिक पैरा/खंड और आरबीआई, बेलापुर द्वारा जारी किए गए स्पष्टीकरण निम्नानुसार हैं:

क्र सं. ई-टेंडर नाम और प्रतिभागियों द्वारा उठाए गए प्रश्न निविदा दस्तावेजों में प्रासंगिक पैरा / खंड आर बी आई, बेलापुर द्वारा जारी किए गए स्पष्टीकरण
(i) बैंक नोटों के परिवहन के लिए वाहनों की आपूर्ति

प्रश्न:

यदि बैंक आरबीआई, बेलापुर से करेंसी चेस्ट (CCs) के लिए आउटवर्ड रेमिटेंस ट्रांसपोर्ट करने के लिए और उसी वाहन में इनवर्ड रेमिटेंस को करेंसी चेस्ट (CC) से आर बी आई, बेलापुर में परिवहन हेतु प्रतिनियुक्त करता है तो वाहन के किराये के शुल्कों की गणना कैसे की जाएगी? क्या आउटवर्ड रेमिटेंस और इनवर्ड रेमिटेंस के लिये राशि की गणना 200 किलोमीटर तक के अनुसार प्लस 200 किलोमीटर से अधिक तय की गई दूरी हेतु प्रति किलोमीटर के लिए लागू दर पर अलग-अलग की जाएगी या आउटवर्ड रेमिटेंस और इनवर्ड रेमिटेंस दोनों को ध्यान में रखते हुए राशि की गणना 200 किलोमीटर तक के अनुसार प्लस 200 किलोमीटर से अधिक तय की गई दूरी हेतु प्रति किलोमीटर के लिए लागू दर के अनुसार गणना की जाएगी?
जैसा कि खंड VII में पैरा II के तहत उल्लेख किया गया है, निविदाकर्ता को “आरबीआई, बेलापुर से उसके क्षेत्राधिकार और महाराष्ट्र और गोवा राज्यों में किसी भी अन्य स्थान पर स्थित मुद्रा चेस्ट के लिए और वाईस वरसा पूरी तरह से कवर किए गए कंटेनर ट्रक / वाहन के लिए किराया शुल्क दर उद्धृत करने की आवश्यकता है: क्र .सं. (i) 200 किलोमीटर की दूरी तक (एकमुश्त राशि) और 200 किलोमीटर से अधिक दूरी (प्रति अतिरिक्त किलोमीटर की दर से)”। एक अतिरिक्त क्लॉज (डी) को टेंडर डॉक्यूमेंट के सेक्शन VII में दिए गए 'नोट' के तहत जोड़ा गया है, जिसमें उल्लेख है कि "आउटवर्ड रेमिटेंस के दौरान आर बी आई, बेलापुर से करेंसी चेस्ट (CCs) और और उसी वाहन से इनवर्ड रेमिटेंस के लिए करेंसी चेस्ट (CCs), यदि आवश्यक हो, से भारतीय रिजर्व बैंक, बेलापुर तक कवर की गई कुल दूरी को एकल यात्रा माना जाएगा और किराए के प्रभार की गणना तदनुसार की जाएगी, अर्थात वाहन की संपूर्ण यात्रा (अर्थात आउटवर्ड और इनवर्ड) के लिए किराए का प्रभार 200 किलोमीटर के लिए एकमुश्त राशि तथा 200 किलोमीटर से अधिक की दूरी के लिए प्रति किलोमीटर की दर से गणना की गई राशि का योग होगा। बैंक द्वारा आउटवर्ड रेमिटेंस के लिए ही भारतीय रिज़र्व बैंक, बेलापुर से लेकर CC तक वाहन नियोजित करने पर आर बी आई, बेलापुर से CC/CCs तक तय की गई दूरी को ध्यान में रखते हुए ही वाहन किराए के शुल्क का भुगतान बैंक द्वारा किया जाएगा।”
(ii) बैंक नोट्स के परिवहन के लिए वाहनों की आपूर्ति

प्रश्न:

क्या आरबीआई, बेलापुर से सीसी के लिए बाह्य प्रेषण, और सीसी से भारतीय रिजर्व बैंक, बेलापुर के लिए आवक प्रेषण हेतु ट्रांजिट अवधि के दौरान वाहन के लिए रोके रखने का प्रभार लागू है या नहीं?
जैसा कि खंड VII में पैरा III के तहत उल्लेख किया गया है, निविदाकर्ता को "बैंक के प्रबंधन के नियंत्रण से बाहर होने के कारणों के लिए, यदि पहले मांग हो, वाहनों के कार्यालय समय के बाद रोके रखने का प्रभार" के लिए दर उद्धृत करना आवश्यक है। निविदा दस्तावेज के खंड VII में नोट के तहत खंड (बी) में संशोधन किया गया है, जिसे ऐसे पढ़ा जाये कि "यदि वेंडर द्वारा दी गई सेवाओं की कमी / सौंपे गए कार्य के दिन वेंडर द्वारा किसी कारण से खजाने की अन लोडिंग / लोडिंग में देरी के कारण वाहन को रोके रखा गया हो तब वाहन को रोके रखने का प्रभार का भुगतान नहीं किया जायेगा। आरबीआई, बेलापुर से सीसी के लिए बाह्य प्रेषण और सीसी से आरबीआई, बेलापुर के लिए आवक प्रेषण के ट्रांजिट के दौरान भी वाहनों के लिए रोके रखने के प्रभार का भुगतान नहीं किया जाएगा।“
(iii) बैंक नोटों के परिवहन के लिए वाहनों की आपूर्ति

प्रश्न:

निविदा दस्तावेज में उल्लेख है कि ठेकेदार द्वारा आपूर्ति किए गए वाहन 10 वर्ष से कम पुराने होंगे और सड़क के लायक और अच्छी स्थिति में होने चाहिए, जबकि मेट्रो शहरों के नगर निगम में प्रवेश करने के लिए वाहन 8 वर्ष से कम पुराने होने चाहिए।
खंड III में 'ठेकेदार के कर्तव्यों' के तहत क्र.सं. (xiii) में कहा गया है कि "ठेकेदार द्वारा आपूर्ति किए गए वाहन 10 साल से कम पुराने होंगे और सड़क के लायक और अच्छी स्थिति में होने चाहिए"। निविदा दस्तावेज के खंड III में "संविधि का अनुपालन" के तहत यह उल्लेख किया गया है कि "ठेकेदार (ओं) को देश और संबंधित राज्य में लागू सभी प्रासंगिक कानूनों का पालन करना होगा। ठेकेदार अपनी ओर से किसी भी लापरवाही के कारण बैंक को सभी प्रकार के कानूनी निहितार्थों के लिए क्षतिपूर्ति करेगा और जिसके लिए बैंक जिम्मेदार नहीं है”।

i. ठेकेदार मोटर वाहन अधिनियमों के प्रावधानों और संबंधित राज्यों में लागू राज्यों के नियमों का पालन करेगा”।
(iv) बैंक नोटों के परिवहन के लिए वाहनों की आपूर्ति।

प्रश्न:

क्या टेंडर डॉक्यूमेंट्स में ’सिक्योरिटी’ के तहत खंड III में उल्लिखित राशि की सिक्योरिटी डिपॉजिट के बदले सफल टेंडरकर्ता अनुसूचित वाणिज्यिक बैंकों से अपरिवर्तनीय निष्पादन बैंक गारंटी (PBG) जमा कर सकता है?
खंड III में 'सिक्योरिटी ’के तहत पैरा (i) में उल्लेख है कि “अनुबंध के तहत दायित्वों के उचित निष्पादन के लिए, आरबीआई द्वारा अवार्ड किये जाने की अधिसूचना जारी करने के 10 दिनों के भीतर सफल निविदाकर्ता (ओं) को भारतीय रिज़र्व बैंक, सीबीडी बेलापुर, नवी मुंबई के पक्ष में, रु.5,00,000 की राशि (केवल पाँच लाख रुपये) या अनुबंध के कुल अनुमानित खर्च का 5%, जो भी कम हो, की सिक्योरिटी जमा करना होगा। जमा सिक्योरिटी की राशि पर कोई ब्याज देय नहीं होगा।“ निविदा दस्तावेज के खंड III में खंड 'सिक्योरिटी' में संशोधन किया गया है, जिसे ऐसे पढ़ा जाए कि “अनुबंध के तहत दायित्वों के उचित निष्पादन के लिए आरबीआई द्वारा अवार्ड किये जाने की अधिसूचना जारी करने के 10 दिनों के भीतर सफल निविदाकर्ता (ओं) को भारतीय रिज़र्व बैंक, सीबीडी बेलापुर, नवी मुंबई के पक्ष में, रु.5,00,000 की राशि (केवल पाँच लाख रुपये) या अनुबंध के कुल अनुमानित खर्च का 5%, जो भी कम हो, की सिक्योरिटी या समकक्ष राशि का अनुसूचित वाणिज्यिक बैंक से अपरिवर्तनीय निष्पादन बैंक गारंटी (PBG), निर्दिष्ट प्रारूप में, भारतीय रिजर्व बैंक, सीबीडी बेलापुर, नवी मुंबई के पक्ष में प्रस्तुत करनी होगी। जमा सिक्योरिटी की राशि पर कोई ब्याज देय नहीं होगा”।
(v) सिक्का बैग और नोट बक्से की हैंडलिंग के लिए मजदूरों की आपूर्ति।

प्रश्न:

क्या टेंडर डॉक्यूमेंट्स में’सिक्योरिटी’ के तहत खंड III में उल्लिखित राशि की सिक्योरिटी डिपॉजिट के बदले सफल टेंडरकर्ता अनुसूचित वाणिज्यिक बैंकों से अपरिवर्तनीय निष्पादन बैंक गारंटी (PBG) जमा कर सकता है?
खंड III में सिक्योरिटी’के तहत खंड में उल्लेख है कि “ठेकेदार निष्पादन और अनुबंध की पूर्ति के लिए बैंक को 2,00,000/- (केवल दो लाख रुपये) ’सिक्योरिटी’ राशि जमा करेगा और ’सिक्योरिटी’की जमा राशि पर कोई ब्याज देय नहीं होगा”। निविदा दस्तावेज के खंड III में खंड 'सिक्योरिटी' में संशोधन किया गया है, जिसे ऐसे पढ़ा जाए कि “ठेकेदार को 2,00,000/- (केवल दो लाख रु) सिक्योरिटी की राशि जमा करना होगा या समकक्ष राशि का अनुसूचित वाणिज्यिक बैंक से अपरिवर्तनीय निष्पादन बैंक गारंटी (PBG), निर्दिष्ट प्रारूप में, भारतीय रिजर्व बैंक, सीबीडी बेलापुर, नवी मुंबई के पक्ष में प्रस्तुत करनी होगी । जमा सिक्योरिटी की राशि पर कोई ब्याज देय नहीं होगा”।
(vi) वाहक के जोखिम के साथ सिक्के के परिवहन के लिए वाहनों की आपूर्ति

प्रश्न:

निविदा दस्तावेज में उल्लेख है कि ठेकेदार द्वारा आपूर्ति किए गए वाहन 10 वर्ष से कम पुराने होंगे और सड़क के लायक और अच्छी स्थिति में होने चाहिए, जबकि मेट्रो शहरों के नगर निगम में प्रवेश करने के लिए वाहन 8 वर्ष से कम पुराने होने चाहिए।
खंड III में 'ठेकेदार के कर्तव्यों' के तहत क्र.सं (xiii) में उल्लेख है कि "ठेकेदार द्वारा आपूर्ति किए गए वाहन 10 साल से कम पुराने होंगे और सड़क के लायक और अच्छी स्थिति में होने चाहिए"। निविदा दस्तावेज के खंड III में "संविधि का अनुपालन" के तहत यह उल्लेख किया गया है कि "ठेकेदार (ओं) को देश और संबंधित राज्य में लागू सभी प्रासंगिक कानूनों का पालन करना होगा। ठेकेदार अपनी ओर से किसी भी लापरवाही के कारण बैंक को सभी प्रकार के कानूनी निहितार्थों के लिए क्षतिपूर्ति करेगा और जिसके लिए बैंक जिम्मेदार नहीं है”।

i. ठेकेदार मोटर वाहन अधिनियमों के प्रावधानों और संबंधित राज्यों में लागू राज्यों के नियमों का पालन करेगा ।
(vii) वाहक के जोखिम के साथ सिक्के के परिवहन के लिए वाहनों की आपूर्ति

प्रश्न:

क्या वाहक के जोखिम के साथ सिक्कों के परिवहन के लिए उद्धृत दर में आर बी आई, बेलापुर में सिक्का बैग लोड करने और CCs पर उसे अनलोड करने के शुल्क शामिल हैं?
खंड VII के तहत नोट में यह उल्लेख किया गया है कि "उद्धृत दरों में सभी लागू कर सम्मिलित होंगे, यदि कोई हो"। निविदा दस्तावेज के खंड VII में दिए गए नोट को इस तरह पढ़ा जाये कि “उद्धृत दरों में सभी लागू कर सम्मिलित होंगे, यदि कोई हो, और आर बी आई, बेलापुर में सिक्कों को लोड करने और आर बी आई, बेलापुर से महाराष्ट्र और गोवा राज्यों में विभिन्न करेंसी चेस्ट / छोटे सिक्का डिपो तक और वाइस-वर्सा सिक्कों के परिवहन, अनलोडिंग और आपूर्ति के लिए भी शुल्क शामिल होंगे”।
(viii) सिक्का बैग और नोट बक्से की हैंडलिंग के लिए मजदूरों की आपूर्ति।

प्रश्न:

निविदा दस्तावेज में कहा गया है कि “ठेकेदार के पास सहायक श्रम आयुक्त, भारत सरकार द्वारा जारी वैध लाइसेंस होना चाहिए, जो ठेका श्रम (विनियमन और उत्सादन) अधिनियम 1970 की धारा 12 (1) और ठेका श्रम (विनियमन और उत्सादन) केंद्रीय नियमों, 1971 के तहत प्रदान किया गया है।“ हालांकि, निविदाकर्ता अनुबंध के अवार्ड के बाद ही उक्त लाइसेंस के लिए आवेदन कर सकता है। इसलिए, बोलियां जमा करने के समय निविदाकर्ता से उक्त लाइसेंस की प्रति के बजाय, इस संबंध में निविदाकर्ता से इस आशय का पत्र (लेटर ऑफ इंटेंट) बैंक द्वारा स्वीकार किया जा सकता है और निविदाकर्ता को सूचित किया जा सकता है कि संबंधित प्राधिकारी से वैध लाइसेंस उचित समय के भीतर सफल निविदाकर्ता द्वारा प्रस्तुत किया जाना चाहिए।
निविदा दस्तावेज की खंड II के पैरा 3.1 (iv) में उल्लेख किया गया है कि "ठेकेदार के पास सहायक श्रम आयुक्त, भारत सरकार द्वारा ठेका श्रम (विनियमन और उत्सादन) अधिनियम 1970 की धारा 12 (1) और ठेका श्रम (विनियमन और उत्सादन) केंद्रीय नियमों, 1971 के तहत जारी वैध लाइसेंस होना चाहिए।“ निविदाकर्ता तकनीकी बोली फॉर्म के साथ इस संबंध में एक 'लेटर ऑफ इंटेंट' प्रस्तुत कर सकता है और उससे अपेक्षित होगा कि अनुबंध को प्रदान करने के बाद सात कार्य दिवसों के भीतर लेकिन अनुबंध के शुरुआत से पहले, यदि अपेक्षित हो, भारत सरकार द्वारा ठेका श्रम (विनियमन और उत्सादन) अधिनियम 1970 की धारा 12 (1) और ठेका श्रम (विनियमन और उत्सादन) केंद्रीय नियमों, 1971 के तहत जारी वैध लाइसेंस प्रस्तुत करना होगा।

महाप्रबंधक (प्रभारी अधिकारी)
भारतीय रिज़र्व बैंक
बेलापुर, नवी मुंबई


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