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प्रेस प्रकाशनी

गैर-सरकारी गैर-वित्‍तीय सार्वजनिक लिमिटेड कंपनियों की वित्‍तीय स्थिति, 2018-19 – आंकड़ों का प्रकाशन

4 मई 2020

गैर-सरकारी गैर-वित्‍तीय सार्वजनिक लिमिटेड कंपनियों की
वित्‍तीय स्थिति, 2018-19 – आंकड़ों का प्रकाशन

भारतीय रिज़र्व बैंक ने आज अपनी वेबसाइट (https://dbie.rbi.org.in/DBIE/dbie.rbi?site=statistics#!2_44) पर गैर-सरकारी गैर-वित्‍तीय (एनजीएनएफ) सार्वजनिक लिमिटेड कंपनियों की वर्ष 2018-19 की वित्‍तीय स्थिति संबंधी आंकड़े जारी किए जो मार्च 2019 की समाप्ति को ऐसी कंपनियों की कुल चुकता पूंजी (पीयूसी) के 64.2 प्रतिशत के हिसाब से 16,045 कंपनियों के लेखा परीक्षित वार्षिक खातों पर आधारित है। तुलना की सुविधा के लिए 2016-17 से 2018-19 तक की तीन साल की अवधि के लिए आंकड़े प्रस्तुत किए गए है। इन आंकड़ों के संबंध में ‘व्‍याख्‍यात्‍मक टिप्‍पणी’ अनुबंध में दी गई है।

प्रमुख विशेषताएं :

  • 2018-19 के दौरान कुल बिक्री वृद्धि में पिछले वर्ष के 8.7 प्रतिशत से 15.1 प्रतिशत की तेजी दर्ज की गई (विवरण 1)

  • सभी प्रमुख क्षेत्रों जैसे विनिर्माण, निर्माण और सेवा क्षेत्रों में उच्च बिक्री वृद्धि दर्ज की गई। विनिर्माण क्षेत्र में कपड़ा, रसायन, लोहा और इस्पात, फार्मास्यूटिकल्स, कागज और सीमेंट उद्योग ने उच्च बिक्री दर्ज की, जबकि सेवा क्षेत्र में थोक और खुदरा व्यापार और अचल संपत्ति में उच्च बिक्री दर्ज की गई (विवरण 11)।

  • प्रमुख क्षेत्रों में हाल के वर्षों में निर्यात की तीव्रता (निर्यात बिक्री अनुपात के रूप में मापी गई) में गिरावट आई (विवरण 2 और 12)।

  • इन कंपनियों के उधार (बैंकों और गैर बैंकों दोनों से) में दोहरे अंकों की वृद्धि हुई, जिसके परिणामस्वरूप विशेष रूप से सेवा क्षेत्र में अधिक लाभ हुआ। हालांकि, उनका ब्याज कवरेज अनुपात (ब्याज और कर पूर्व आय और ब्याज खर्च से मापा गया) स्थिर रहा (विवरण 1, 2 और 12)।

  • कच्चे माल की उच्च लागत के कारण इनपुट लागत दबाव के बावजूद, मजबूत बिक्री वृद्धि ने 2018-19 के दौरान परिचालनगत लाभ में वृद्धि हुई । हालांकि, लगातार दूसरे वर्ष के लिए परिचालनगत लाभ सीमा (परिचालनगत लाभ और बिक्री अनुपात) में गिरावट आई (विवरण 2 और 12)।

  • मुख्य रूप से विनिर्माण कंपनियों की मजबूत लाभ वृद्धि के कारण कुल स्तर पर शुद्ध लाभ वृद्धि अधिक रही (विवरण 1 और 11) ।

  • विनिर्माण और साथ ही सेवा क्षेत्रों में प्राप्त गति के कारण 2018-19 के दौरान इन कंपनियों की सांकेतिक जीवीए वृद्धि 11.1 प्रतिशत (पिछले वर्ष में 6.5 प्रतिशत) तक बढ़ी (विवरण 1 और 11)।

नोट :

1. आंकड़ों का प्राथमिक स्रोत कॉर्पोरेट कार्य मंत्रालय (एमसीए) है।

अजीत प्रसाद
निदेशक  

प्रेस प्रकाशनी: 2019-2020/2311


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