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Date: 14/03/2018
बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 (सहकारी सोसायटियों पर यथालागू) की धारा 35क के अंतर्गत निदेश – सन्मित्र सहकारी बैंक मर्यादित, मुम्बई, महाराष्ट्र

14 मार्च 2018

बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 (सहकारी सोसायटियों पर यथालागू) की धारा 35क के अंतर्गत
निदेश – सन्मित्र सहकारी बैंक मर्यादित, मुम्बई, महाराष्ट्र

सन्मित्र सहकारी बैंक मर्यादित, मुम्बई, महाराष्ट्र को दिनांक 14 जून 2016 के निदेश के माध्‍यम से 14 जून 2016 की कारोबार समाप्ति से छह माह की अवधि के लिए निदेशाधीन रखा गया था। निदेशों की वैधता को समय समय पर बढाया गया और पिछली बार इन निदेशों की अवधि को दिनांक 08 सितम्बर 2017 के आदेश के माध्यम से बढाया गया और ये निदेश दिनांक 14 मार्च 2018 तक समीक्षाधीन वैध थे।

जन साधारण के सूचनार्थ एतद्द्वारा सूचित किया जाता है कि भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 56 के पठित धारा 35ए की उपधारा (1) में निहित शक्तियों का प्रयोग करते हुए, समय समय पर यथासंशोधित किए अनुसार दिनांक 14 जून 2016 के निदेश के माध्‍यम से उपर्युक्‍त बैंक को निदेश जारी किया गया था जिसकी वैधता अवधि पिछली बार दिनांक 08 सितम्बर 2017 के आदेश के माध्यम से दिनांक 14 मार्च 2018 तक बढाया गया और ये निदेश बैंक पर दिनांक 15 मार्च 2018 से दिनांक 14 जुलाई 2018 तक अगले चार महीनों के लिए वैध रहेंगे जिसकी सूचना दिनांक 09 मार्च 2018 के निदेश के माध्‍यम से दी गई है तथा ये निदेश समीक्षाधीन रहेंगे।

समय-समय पर यथासंशोधित इस निदेश के अन्य नियम और शर्तें अपरिवर्तित रहेंगी।

उपरोक्त वैधता को सूचित करने वाले दिनांक 09 मार्च 2018 के निदेश की एक प्रति बैंक के परिसर में जनता की सूचना के लिए लगाई गई है।

भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा उपरोक्त वैधता बढाने का यह अर्थ न लगाया जाए कि भारतीय रिज़र्व बैंक, उपर्युक्त बैंक की वित्तीय स्थिति में मौलिक सुधार से संतुष्ट है।

अनिरुद्ध डी. जाधव
सहायक प्रबंधक

प्रेस प्रकाशनी: 2017-2018/2446

 
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