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शहरी बैंकिंग

शायद यह भूमिका हमारे कार्यकलापों का सबसे अधिक अघोषित पहलू है, फिर भी यह सबसे महत्वपूर्ण है। इसमें अर्थव्यवस्था के उत्पादक क्षेत्रों के लिए ऋण उपलब्धता सुनिश्चित करना, देश की वित्तीय मूलभूत सुविधा के निर्माण के लिए डिज़ाइन किए गए संस्थानों की स्थापना करना, वहनीय वित्तीय सेवाओं की पहुंच में विस्तार करना और वित्तीय शिक्षा और साक्षरता को बढ़ावा देना शामिल है।

प्रेस प्रकाशनी


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बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 56 के साथ पठित धारा 35 ए के अंतर्गत जारी निदेश – श्री मल्लिकार्जुन पट्टन सहकारी बैंक नियमिता, मस्की, कर्नाटक – अवधि बढ़ाना

19 जनवरी 2023

बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 56 के साथ पठित धारा 35 ए के अंतर्गत जारी निदेश –
श्री मल्लिकार्जुन पट्टन सहकारी बैंक नियमिता, मस्की, कर्नाटक – अवधि बढ़ाना

भारतीय रिज़र्व बैंक ने बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 56 के साथ पठित धारा 35 ए के अंतर्गत दिनांक 15 जुलाई 2022 के निदेश BLR.DOS.SSMS.No.558/13-03-225/2022-23 द्वारा श्री मल्लिकार्जुन पट्टन सहकारी बैंक नियमिता, मस्की, कर्नाटक को निदेश जारी किए थे।

2. भारतीय रिज़र्व बैंक इस बात से संतुष्ट है कि श्री मल्लिकार्जुन पट्टन सहकारी बैंक नियमिता, मस्की, कर्नाटक को जारी 15 जुलाई 2022 के निदेश की परिचालन अवधि को जनहित में बढ़ाया जाना आवश्यक है। तदनुसार, बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 56 के साथ पठित धारा 35 ए की उपधारा (1) के अंतर्गत प्रदत्त शक्तियों का उपयोग करते हुए भारतीय रिज़र्व बैंक एतदद्वारा निदेश देता है कि श्री मल्लिकार्जुन पट्टन सहकारी बैंक नियमिता, मस्की, कर्नाटक को जारी दिनांक 15 जुलाई 2022 के निदेश BLR.DOS.SSMS.No.558/13-03-225/2022-23, अब बैंक पर 19 जनवरी 2023 से 18 अप्रैल 2023 तक अगले तीन माह की अवधि के लिए और लागू रहेंगे तथा ये निदेश समीक्षाधीन रहेंगे।

3. संदर्भित निदेश के समय- समय पर यथा संशोधित अन्य नियम एवं शर्तें यथावत रहेंगी।

(योगेश दयाल) 
मुख्य महाप्रबंधक

प्रेस प्रकाशनी: 2022-2023/1576

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