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प्रेस प्रकाशनी

बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 (सहकारी सोसायटियों पर यथालागू) की धारा 35 क के अंतर्गत निदेश – रूपी को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, पुणे, महाराष्ट्र

02 दिसंबर 2019

बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 (सहकारी सोसायटियों पर यथालागू) की धारा 35 क के अंतर्गत
निदेश – रूपी को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, पुणे, महाराष्ट्र

रूपी को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, पुणे, महाराष्ट्र को दिनांक 21 फ़रवरी, 2013 के निदेश सं. यूबीडी.सीओ.बीएसडी-I/डी-28/12.22.218/2012-13 के माध्‍यम से दिनांक 22 फरवरी, 2013 की कारोबार समाप्ति से निदेशाधीन रखा गया था। निदेशों की वैधता को समय समय पर बढाया गया और पिछली बार इन निदेशों की अवधी को दि. 28 अगस्त 2019 के आदेश सं. डीसीबीआर.सीओ.एआइडी/डी-12/12.22.218/2019-20 के माध्यम से बढाया गया और ये निदेश दिनांक 30 नवम्बर 2019 तक वैध तथा समीक्षाधीन रहें।

2. जन साधारण की सूचनार्थ एतद्द्वारा सूचित किया जाता है कि भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 56 के पठित धारा 35 ए की उपधारा (1) में निहित शक्तियों का प्रयोग करते हुए समय-समय पर यथासंशोधित दिनांक 21 फरवरी, 2013 के निदेश सं यूबीडी.सीओ. बीएसडी.I/डी-28/12.22.218/2012-13 के माध्‍यम से उपर्युक्‍त बैंक को जारी निदेश जिसकी वैधता अवधि दिनांक 30 नवम्बर 2019 तक बढाई गई थी, अब बैंक पर दिनांक 01 दिसम्बर 2019 से दिनांक 29 फरवरी 2020 तक आगे तीन महीनों के लिए वैध रहेंगे, जिसकी सूचना दिनांक 20 नवम्बर 2019 के निदेश सं डीओआर.एआइडी/डी-40/12.22.21/2019-20 के माध्‍यम से दी गई है तथा ये निदेश समीक्षाधीन रहेंगे ।

3. संदर्भाधीन निदेश के अन्य नियम और शर्तें अपरिवर्तित रहेंगी। उपरोक्त वैधता को सूचित करनेवाले दिनांक 20 नवम्बर 2019 के निदेश की एक प्रति बैंक के परिसर में जनता की सूचना के लिए लगाई गई है।

4. भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा उपरोक्त वैधता बढाने या/ और संशोधित करने का यह अर्थ न लगाया जाए कि भारतीय रिज़र्व बैंक, बैंक की वित्तीय स्थिति से संतुष्ट है।

(योगेश दयाल) 
मुख्य महाप्रबंधक

प्रेस प्रकाशनी: 2019-2020/1325


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